धनराज पिल्ले का जीवन परिचय हिंदी में (Dhanraj Pillay Biography in Hindi) धनराज पिल्ले भारतीय हॉकी टीम के पूर्व कप्तान और आज की तारीख में भारतीय हॉकी टीम के प्रबंधक है I धनराज पिल्ले ( Dhanraj Pillay) की गिनती अपने समय के सर्वश्रेष्ठ हॉकी खिलाड़ी (Hockey Player) के रूप में की जाती थी I हॉकी के क्षेत्र में उनका योगदान अतुल्य रहा है . ऐसे में इस महान शख्सियत के निजी जीवन के सभी पहलुओं के बारे में जानने की उत्सुकता तेजी से लोगों के मन में आ रही होगी कि धनराज पिल्ले कौन हैं? (Dhanraj Pillay Koun Hai) धनराज पिल्ले के बारे में (About Dhanraj Pillay in Hindi) Dhanraj pillay Education, Dhanraj pillay Family, Dhanraj Pillay Wife हॉकी खिलाड़ी धनराज पिल्ले ( Hockey Player Dhanraj Pillay)
धनराज पिल्ले रिकार्ड्स (Dhanraj Pillay Records) धनराज पिल्ले की उपलब्धियां, धनराज पिल्ले के मोबाइल नंबर (Dhanraj Pillay Mobile number) धनराज पिल्ले के सोशल मीडिया लिंक्स अगर आप इसके बारे में कुछ भी नहीं जानते हैं तो हम आपसे निवेदन करेंगे कि आर्टिकल को आखिर तक पढ़े आइए जानते हैं-
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Dhanraj Pillay Biography in Hindi
नाम | धनराज पिल्ले (Dhanraj Pillay) |
जन्मतिथि | 16 जुलाई, 1968 |
जन्म | राष्ट्र राज्य के पुणे जिले के समीप स्थित खड़की |
उम्र कितनी है | 53 साल 2022 के मुताबिक |
शैक्षणिक योग्यता | उपलब्ध नहीं है |
राष्ट्रीयता | भारतीय |
धर्म | हिंदू धर्म |
पेशा | सहायक प्रबंधक, इंडियन एयरलाइंस |
वैवाहिक स्थिति | अविवाहित |
कुल संपत्ति | 214. 53 करोड़ |
धनराज पिल्ले कौन हैं? Dhanraj Pillay Koun Hai
Dhanraj Pillay Biography in Hindi:- धनराज पिल्ले किसी पहचान के मोहताज नहीं है I भारतीय हॉकी टीम के पूर्व कप्तान रह चुके हैं I आज के समय वे भारतीय हॉकी टीम के प्रबंधक हैं। साथ ही, वे कंवर पाल सिंह गिल के निलंबन के पश्चात निर्मित भारतीय हॉकी फेडरेशन की अनौपचारिक (एडहॉक) समिति के सदस्य भी है I धनराज पिल्ले अपने समय के सर्वश्रेष्ठ हॉकी खिलाड़ी थे I
धनराज पिल्ले के बारे में (About Dhanraj Pillay in Hindi)
धनराज पिल्लै (Dhanraj Pillay) का जन्म 16 जुलाई 1968 को महाराष्ट्र के दक्षिण भारतीय गोंड परिवार में हुआ था। धनराज पिल्ले के पिता का नाम नागालिंगम पिल्लै (Nagalingam Pillai) और माता का नाम अंन्दालम्मा पिल्लै (Anandalamma Pillai) था। बचपन से ही धनराज पिल्ले हॉकी खिलाड़ी बनना चाहते थे I इसके लिए वह अपने दोस्तों के साथ लकड़ियों के द्वारा बनाए गए स्टिक से हॉकी खेला करते थे I हालांकि उनके घर की आर्थिक स्थिति अच्छी नहीं थी लेकिन उन्होंने हार नहीं मानी और लगातार संघर्ष और परिश्रम करते रहे इसका परिणाम स्वरूप धनराज पिल्ले श्रेष्ठ भारतीय हॉकी खिलाड़ी बन गए I

Dhanraj Pillay Education
धनराज पिल्ले के शिक्षा के बारे में कोई भी जानकारी इंटरनेट पर उपलब्ध नहीं है जैसे ही कोई जानकारी उपलब्ध होती है हम आपको तुरंत इस के बारे में अपडेट करेंगे हालांकि धनराज पिल्ले शिक्षा के बारे में कहा जाता है कि उनका मन पढ़ाई में नहीं लगता था और बड़ी ही मुश्किल से वह परीक्षा पास किया करते थे I
Dhanraj Pillay Family
पिता का नाम | नागालिंगम पिल्लै |
माता का नाम | अंदालम्मा |
भाई का नाम | रमेश पिल्लै |
बहन का नाम | कोई नहीं |
पत्नी का नाम | अविवाहित |
बच्चों का नाम | नहीं है |
Dhanraj Pillay Wife
धनराज पिल्ले के पत्नी (Dhanraj pillay Wife) का क्या नाम है? तो हम आपको बता दें कि धनराज पिल्ले शादी नहीं की है और उन्होंने अपना पूरा जीवन खेल को समर्पित कर दिया I एक इंटरव्यू में जब उनसे पूछा गया कि उन्होंने शादी क्यों नहीं की तुमने कहा कि मेरी शादी तो होगी से हो गई है इसलिए मैं अपना पूरा जीवन हो कि कोई समर्पित करूंगा इसलिए मैं जीवन में कभी भी शादी नहीं करूंगा I
हॉकी खिलाड़ी धनराज पिल्ले | Hockey Player Dhanraj Pillay
हॉकी खिलाड़ी धनराज पिल्ले (Hockey Player Dhanraj Pillay Biography in Hindi) का जीवन काफी संघर्ष और अभावग्रस्त में गुजरा है . लेकिन उन्होंने कभी भी हार नहीं मानी और लगातार प्रयास और परिश्रम करते रहे इसका नतीजा यह हुआ कि उनकी गिनती सर्वश्रेष्ठ हॉकी खिलाड़ी के रूप में होने लगी I धनराज पिल्ले की गिनती सचिन तेंदुलकर (Sachin Tendulkar) से की जाती है I जिस प्रकार Sachin Tendulkar ने क्रिकेट में उपलब्धियां हासिल की है शायद ही किसी खिलाड़ी ने किया होगा I इसी प्रकार धनराज पिल्लै भी हॉकी के खेल में सर्वश्रेष्ठ समझे जाते हैं।
धनराज पिल्ले की कहानी एक ऐसे सामान्य वर्ग के लड़की की है जो गरीब परिवार से निकलकर अपनी कड़ी मेहनत के बल पर अपना मुकाम हासिल किया I उनके पास हॉकी स्टिक (Hockey stick) खरीदने के पैसे नहीं थे . जिसके कारण टूटी फूटी लकड़ियों से हॉकी खेला करते थे I इसलिए हम कह सकते हैं कि धनराज पिल्ले का जीवन हम सभी के लिए प्रेरणा का स्रोत है I इस बात की सीख है कि अगर आप जीवन में कुछ करने की चाह रखते हैं तो आपके सामने लाखों मुसीबत आ जाए लेकिन आप अपनी मंजिल तक जरूर पहुंचेंगे I
धनराज पिल्ले रिकार्ड्स | Dhanraj Pillay Records
- चार ओलंपिक (1992, 1996, 2000 और 2004), चार विश्व कप (1990, 1994, 1998 और 2002), चार चैंपियंस ट्रॉफी (1995, 1996, 2002 और 2003) में सम्मिलित होने वाले दुनिया के एकमात्र खिलाड़ी हैं I
- चार एशियाई खेल (1990, 1994, 1998 और 2002)। उनकी कप्तानी में भारत ने खेला
- भारत ने 1998 में एशियाई खेलों और 2003 में एशिया कप जीता। उस टीम के सदस्य धनराज पिल्ले भी थे I
- वह बैंकाक एशियाई खेलों में अग्रणी गोल स्कोरर भी थे I
- सिडनी में 1994 के विश्व कप के दौरान विश्व ग्यारह में शामिल होने वाले एकमात्र भारतीय थे।
धनराज पिल्ले की उपलब्धियां | Dhanraj Pillay Achievement
- 1989 मे धनराज पिल्लै आल्विन एशिया कप रजत पदक जीतने का रिकॉर्ड बनाया
- सितंबर 2000 में सिडनी ओलंपिक में बोलकर कर टीम को सातवें स्थान पर पहुंचाया
- • जुलाई अगस्त 1996 मे अटलांटा ओलंपिक मे दो गोल करने का रिकॉर्ड अपने नाम पर दर्ज किया
- 1990 मे बीजिंग में और 1994 में हिरोशिमा में हुए एशियाई खेलों मे साध मेडल जीते I
- 2002 में हुए बुसान एशियाई खेलों में भारतीय भारतीय टीम के अगुआ झंडा धारक बने। उन्होंने 3 गोल दाग कर टीम को रजत पदक दिलाया।
आल स्टार एशियन गेम्स टीम के सदस्य बनाए गए।
- 1998 मे बैंकॉक मे भारतीय टीम ने उनके नेतृत्व मे स्वर्ण पदक जीता। उन्होंने दस गोल दागे।
- 1998 कुआलालम्पुर में टीम चौथे स्थान पर रही इन्होंने 5 गोल किए।
- 1998 में उत्रेची में दो गोल, कैप्टन बने।
- 1999 में कुआलालम्पुर में उन्होंने तीन गोल किए। टीम तीसरे स्थान पर रही।
- 1993 मे हिरोशिमा में तथा 1989 में दिल्ली मे टीम के सदस्य रहे।
- 2002 में कुआलालम्पुर में दो गोल करके टीम को जीत दिलाई I
- • 2002 में कोलोन में दो गोल, प्लेयर ऑफ द टूर्नामेंट का खिताब जीता I
- • कोलोन टूर्नामेंट में 1990,1992 तथा 1994 में उन्होंने टाइटिल जीता।
- 1995 टीम के सदस्य बनाया गया है जहां उनका प्रदर्शन काफी अच्छा रहा था I
- 1999 मे 7 गोल दाग कर प्लेयर ऑफ द टूर्नामेंट बने,
- 2001 में कुआलालम्पुर में प्रथम स्थान एक गोल किया।
- • 1998 में हुई इस सीरीज में धनराज पिल्लै कप्तान बने।
- 1991 में मलेशिया मे टीम ने कब जीता इस टीम के सदस्य धनराज पहले भी थे I
- 1990 में बी. एम. डब्ल्यू टूर्नामेंट में टीम में खिलाड़ी रहे,
- 1993 में इंटरकॉन्टिनेंटल टूर्नामेंट पोजनान, 1993 में वियना, 1995 में जर्मनी, 1997 में हम्बर्ग, 2000 में बेल्जियम, 2000 में बर्सिलोना, 2002 में एम्सटेलवीन। जैसे टूर्नामेंट में इनका प्रदर्शन काफी अच्छा रहा था
- धनराज ने सीनियर नेशनल 1997, जूनियर नेशनल 1995, राष्ट्रीय खेल 2002, जवाहर लाल नेहरू हॉकी टूर्नामेंट 2002, लाल बहादुर शास्त्री हॉकी टूर्नामेंट 2002, गुरूप्पा गोल्ड कप 2002, 1999, 1998, में टीम के खिलाड़ी रहे। गुरूप्पा गोल्ड कप में 2002 व 1999 में वे मैन ऑफ द फाइनल चुने गए।
- 1995 में उन्हें अर्जुन पुरस्कार से नवाजा गया
- 1998-99 के लिए उन्हें के.के. बिरला फाउंडेशन पुरस्कार दिया गया।
- 1999 में धनराज को राजीव गांधी खेल रत्न पुरस्कार से सम्मानित किया गया।
- सन् 2001 में उन्हें पद्मश्री से सम्मानित किया गया।
धनराज पिल्ले के मोबाइल नंबर | Dhanraj Pillay Mobile Number
धनराज पिल्ले से अगर आप मोबाइल के माध्यम से संपर्क करना चाहते हैं तो धनराज पिल्ले का मोबाइल नंबर का Dhanraj pillay Mobile Number) विवरण हम आपको नीचे दे रहे हैं जो इस प्रकार है- 9819480624 इस नंबर पर फोन कर आप धनराज पिल्ले से बातचीत कर सकते हैं I
धनराज पिल्ले के सोशल मीडिया लिंक्स | Dhanraj Pillay Social Media Links
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FAQ’s Dhanraj Pillay Biography in Hindi
Q.धनराज पिल्ले के कितने भाई थे?
Ans. धनराज पिल्ले का एक भाई है जिसका नाम रमेश पिल्ले है I
Q. धनराज पिल्ले का जन्म कहां हुआ है?
Ans. धनराज पिल्ले का जन्म महाराष्ट्र के पुणे जिले में स्थित खड़की में हुआ है I
Q.धनराज पिल्ले का उपनाम क्या है?
धनराज पिल्ले एक सेवानिवृत्त भारतीय फील्ड हॉकी खिलाड़ी और भारतीय राष्ट्रीय टीम के पूर्व कप्तान हैं। धनराज अपनी चतुर आक्रमणकारी संवेदनशीलता के लिए जाने जाते थे, एक स्ट्राइकर के रूप में खेलते हुए, हॉकी समुदाय में तूफ़ान उपनाम संबोधित किया जाता है I
Q.धनराज की पहली कार कौन सी है?
Ans.धनराज ने बताया कि इमप्लॉयर ने उन्हें उनकी पहली कार दी थी जो कि एक सेकेंड हैंड कार थी। उस कार था नाम अरर्मडा था। फिर धनराज ने कठिन परिश्रम से खुद की कमाई से अपनी पहली कार सन् 2000 में खरीदी थी, जो कि फोर्ड आइकान थी।
Q.धनराज के बचपन के दिन कैसे थे?
धनराज का बचपन काफ़ी गरीबी में व्यतीत हुआ था। उनको आर्थिक संकट का सामना करना पड़ा था। उनका एवं उनके भाइयों के पालन-पोषण में उनकी माँ को काफ़ी संघर्ष करना पड़ा था। धनराज को हॉकी खेलने के लिए हॉकी स्टिक खरीदने के पैसे नहीं होते थे।
Q.धनराज का बचपन कहां गुजरा?
Ans.धनराज पिल्ले का जन्म एक गरीब परिवार में हुआ था, और उन्होंने अपना बचपन आयुध निर्माणी स्टाफ कॉलोनी में बिताया, जहाँ उनके पिता ग्राउंड्समैन थे।
Q.धनराज ने पहली बार हॉकी कब खेली?
धनराज ने अपनी जूनियर राष्ट्रीय हॉकी की 1985 में मणिपुर में खेली।